Abu Azmi: महाराष्ट्र समाजवादी पार्टी (सपा) के प्रमुख और विधायक अबू आजमी एक बड़े विवाद में घिर गए हैं। उन्होंने मुगल शासक औरंगजेब के समर्थन में बयान दिया, जिसके चलते उनके खिलाफ भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) की कई धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है। अबू आजमी की इस टिप्पणी ने राजनीतिक हलकों में हलचल मचा दी है, और विपक्षी दलों ने उनकी कड़ी आलोचना की है।
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क्या कहा था अबू आजमी ने?
महाराष्ट्र विधानसभा के सत्र की शुरुआत में मुंबई में पत्रकारों से बातचीत के दौरान अबू आजमी ने कहा, औरंगजेब क्रूर नेता नहीं थे। उन्होंने कई मंदिरों का निर्माण कराया था। वाराणसी में उन्होंने एक हिंदू बच्ची को एक पुजारी से बचाया था, जिसकी नीयत खराब थी। औरंगजेब ने उस पुजारी को हाथियों से कुचलवा दिया।
उन्होंने आगे कहा, मैं औरंगजेब को क्रूर शासक नहीं मानता। उस दौर में सत्ता संघर्ष राजनीतिक था, धार्मिक नहीं। औरंगजेब की सेना में कई हिंदू थे, जैसे छत्रपति शिवाजी की सेना में कई मुस्लिम थे। उनके शासनकाल में भारत की सीमाएं अफगानिस्तान तक फैली हुई थीं। लेकिन उन्हें धार्मिक नजरिए से बदनाम किया गया है।
Abu Azmi के बयान पर मचा बवाल, विरोधियों ने घेरा
अबू आजमी के इस बयान के बाद राजनीतिक गलियारों में भूचाल आ गया। महाराष्ट्र में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा), शिवसेना (शिंदे गुट) और अन्य दलों ने उनकी कड़ी आलोचना की। महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने इस बयान की तीखी निंदा करते हुए कहा कि अबू आजमी को इसके लिए माफी मांगनी चाहिए। उन्होंने कहा, छत्रपति संभाजी महाराज एक सच्चे राष्ट्रभक्त थे और औरंगजेब ने उन्हें 40 दिनों तक क्रूरतम यातनाएं देने के बाद फांसी दी थी। औरंगजेब के शासन का महिमामंडन करना एक गंभीर अपराध है। अबू आजमी को अपनी टिप्पणी के लिए देश से माफी मांगनी चाहिए।
शिवसेना सांसद नरेश म्हास्के ने भी इस पर कड़ी प्रतिक्रिया दी और अबू आजमी के खिलाफ ठाणे के वागले एस्टेट पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई। उनकी शिकायत के आधार पर अबू आजमी के खिलाफ बीएनएस की धारा 299, 302, 356 (1) और 356 (2) के तहत मामला दर्ज किया गया है।
मुद्दे पर राजनीतिक बयानबाजी तेज
अबू आजमी के बयान पर बीजेपी नेता और असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने भी तीखी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा, कुछ लोग इतिहास को तोड़-मरोड़कर पेश करने की कोशिश कर रहे हैं। औरंगजेब क्रूर आक्रमणकारी था, जिसने लाखों निर्दोष लोगों को मारा। अबू आजमी का बयान दुर्भाग्यपूर्ण है और उनकी मानसिकता को दर्शाता है।
महाराष्ट्र में भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष चंद्रशेखर बावनकुले ने कहा, “जो लोग औरंगजेब का समर्थन करते हैं, वे देश के राष्ट्रवाद के खिलाफ काम कर रहे हैं। अबू आजमी जैसे नेताओं पर कार्रवाई होनी चाहिए।”
Abu Azmi की सफाई
इस पूरे विवाद पर सफाई देते हुए अबू आजमी ने कहा, मैंने जो कहा है, वह ऐतिहासिक तथ्यों पर आधारित है। इतिहास को तोड़-मरोड़कर नहीं देखा जाना चाहिए। सत्ता संघर्ष हमेशा राजनीतिक रहा है, न कि धार्मिक। लेकिन कुछ लोग इसे गलत तरीके से पेश कर रहे हैं। मैं किसी की भावनाओं को आहत नहीं करना चाहता था।
Abu Azmi पर क्या होगी आगे की कार्रवाई?
अबू आजमी के खिलाफ एफआईआर दर्ज हो चुकी है और अब कानूनी प्रक्रिया शुरू हो गई है। पुलिस जल्द ही उनसे पूछताछ कर सकती है। वहीं, राजनीतिक स्तर पर इस विवाद का असर महाराष्ट्र की सियासत में दिख सकता है। विपक्ष इस मुद्दे को भुनाने की पूरी कोशिश कर रहा है, जबकि सपा ने अबू आजमी का बचाव करते हुए कहा कि उन्हें गलत समझा गया है।
इस विवाद के चलते अबू आजमी की मुश्किलें बढ़ सकती हैं, क्योंकि यह मामला केवल महाराष्ट्र तक ही सीमित नहीं है, बल्कि राष्ट्रीय स्तर पर चर्चा का विषय बन चुका है।