Rahul Gandhi: कांग्रेस सांसद और लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी के बिहार दौरे को लेकर गुरुवार को बड़ा सियासी विवाद खड़ा हो गया। दरभंगा प्रशासन ने उन्हें अंबेडकर छात्रावास में ‘शिक्षा न्याय संवाद’ कार्यक्रम आयोजित करने की अनुमति नहीं दी, जिसके विरोध में कांग्रेस नेताओं और समर्थकों ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। प्रशासनिक रोक के बावजूद राहुल गांधी पैदल ही कार्यक्रम स्थल की ओर रवाना हुए और दलित छात्रों से संवाद किया। इस दौरान पुलिस और कांग्रेस कार्यकर्ताओं के बीच धक्का-मुक्की भी देखने को मिली।
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Rahul Gandhi: कांग्रेस का एनडीए और नीतीश कुमार पर तीखा हमला
राहुल गांधी को कार्यक्रम की इजाजत नहीं दिए जाने को लेकर कांग्रेस ने एनडीए सरकार और विशेषकर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर तीखा हमला बोला। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर अपनी नाराजगी जताते हुए लिखा, क्या अब दलित, वंचित, पिछड़े वर्ग के छात्रों से संवाद करना भी संविधान के खिलाफ हो गया है? शिक्षा, भर्ती और रोजगार जैसे सवाल पूछना अब पाप हो गया है?
Rahul Gandhi: नीतीश कुमार भाजपा के दबाव में– राशिद अल्वी
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता राशिद अल्वी ने इस घटनाक्रम को सीधे भाजपा और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की साजिश बताया। उन्होंने कहा, “नीतीश कुमार भाजपा के दबाव में काम कर रहे हैं, इसलिए राहुल गांधी को दरभंगा में छात्रों से संवाद करने की अनुमति नहीं दी गई।” अल्वी ने सवाल किया कि अगर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह बिहार आते, तो क्या प्रशासन उन्हें भी अनुमति देने से इनकार करता?
Rahul Gandhi: यह स्पष्ट रूप से पक्षपातपूर्ण रवैया
उन्होंने कहा, यह स्पष्ट रूप से पक्षपातपूर्ण रवैया है। जहां कांग्रेस नेताओं को रोका जाता है, वहीं भाजपा नेताओं को खुली छूट दी जाती है। यह लोकतंत्र की मूल भावना के खिलाफ है और सरकार की मंशा पर सवाल खड़े करता है।” अल्वी ने कहा कि बिहार में चुनावी माहौल है, और शायद यही वजह है कि मुख्यमंत्री इस तरह का दबाव झेल रहे हैं।
मध्य प्रदेश के मंत्री विजय शाह पर भी बरसे अल्वी
राशिद अल्वी ने मध्य प्रदेश के वन मंत्री कुंवर विजय शाह की उस विवादास्पद टिप्पणी पर भी प्रतिक्रिया दी, जिसमें उन्होंने कर्नल सोफिया कुरैशी को लेकर आपत्तिजनक बात कही थी। अल्वी ने कहा, कुछ अपराध ऐसे होते हैं जिनकी माफी नहीं हो सकती। विजय शाह का बयान न सिर्फ शर्मनाक है, बल्कि देश की सेना और महिला अधिकारियों का अपमान है। सबसे दुखद बात यह है कि भाजपा ने उनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की, न ही पार्टी ने उनकी निंदा की। उन्होंने कहा कि भाजपा के कुछ नेताओं में सांप्रदायिक सोच इस कदर घर कर गई है कि वे सेना के शौर्य को भी धर्म के चश्मे से देखते हैं।
सिंधु जल संधि पर बोले– विपक्ष सरकार के साथ
सिंधु जल संधि के मसले पर पाकिस्तान की ओर से भारत से संपर्क साधे जाने पर भी राशिद अल्वी ने प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा, यह फैसला केंद्र सरकार को करना है। चाहे आयात-निर्यात का मामला हो या सिंधु जल संधि, कांग्रेस और समूचा विपक्ष देशहित में सरकार के साथ खड़ा है। हालांकि, अफसोस की बात है कि सरकार ऐसे मसलों पर विपक्ष से कोई सलाह नहीं लेती।
भाजपा को कांग्रेस से बैर पालने की आदत– ‘जय हिंद सभा’ पर बयान
दिल्ली सरकार में मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा द्वारा ‘जय हिंद सभा’ को लेकर कांग्रेस पर हमले पर भी अल्वी ने जवाब दिया। उन्होंने कहा, ऑपरेशन सिंदूर जैसे मुद्दों पर भी कांग्रेस सरकार के साथ खड़ी रही है। लेकिन भाजपा को कांग्रेस पर हमला करना ही राजनीतिक धर्म लगता है। उन्हें समझना चाहिए कि ऐसे मुद्दों पर एकजुटता जरूरी है, न कि सस्ती राजनीति।
राशिद अल्वी के इन तीखे बयानों से स्पष्ट है कि कांग्रेस राहुल गांधी के कार्यक्रम को लेकर पैदा हुए विवाद को राजनीतिक मुद्दा बनाने में पीछे नहीं हटेगी। आगामी विधानसभा चुनावों से पहले यह मामला नीतीश कुमार और भाजपा दोनों के लिए राजनीतिक चुनौती भी बन सकता है।
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