Paper Leak: राजस्थान सहित कई राज्यों में पेपर लीक की घटनाओं को रोकने के लिए सख्त कानून बनाए गए है। अब इस लिस्ट में बिहार का नाम भी जुड़ने वाला है। बिहार सरकार ने राज्य में परीक्षाओं के दौरान पेपर लीक की घटनाओं को रोकने के लिए एक सख्त कानून बनाने की दिशा में कदम उठाया है। इस प्रस्तावित कानून का उद्देश्य परीक्षा प्रणाली को अधिक सुरक्षित और विश्वसनीय बनाना है। यह प्रस्ताव आगामी विधानसभा सत्र में पेश किया जाएगा।
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अगले साल तक 5 लाख से अधिक सरकारी नौकरियां:
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने ‘सात निश्चय’ के तहत अगले साल तक प्रदेश में 5 लाख से अधिक सरकारी पदों पर नियुक्ति प्रक्रिया पूर्ण करने के निर्देश अधिकारियों को दिए हैं। सुशासन के कार्यक्रम 2020-25 के तहत 15 दिसंबर 2020 से लागू ‘सात निश्चय-2’ के अंतर्गत सीएम कुमार ने 10 लाख सरकारी नौकरी और 10 लाख रोजगार देने का लक्ष्य निर्धारित किया था। उन्होंने अगले में लक्ष्य को हासिल करने के लिए बची हुई नौकरियां और रोजगार को पूरा करने के निर्देश दिए हैं।
अब तक 5.16 लाख लोगों को मिली सरकारी नौकरी:
बिहार सरकार के अनुसार, अब तक 5.16 लाख लोगों को सरकारी नौकरी मिल गई है। इसके अलावा 1.99 लाख सरकारी नौकरी से संबंधित नियुक्तियों के लिए प्रक्रिया पूर्ण हो गई है। आगामी कुछ महीनों में नियुक्ति पत्र जारी किए जाएंगे। नियुक्ति करने वाले विभिन्न आयोगों को 2.11 लाख नई नियुक्ति के लिए अधियाचना भेज दी गई है। अगले साल में नियुक्ति के लिए 72 हजार और रिक्तियां होने का अनुमान है। इसकी अधियाचना अगले साल भेजे जाने की तैयारी की जा रही है।
बिहार में पेपर लीक रोकने के लिए सख्त कानून की तैयारी:
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार नियुक्ति के लिए आयोजित परीक्षाओं में पूर्ण पारदर्शिता बनाने मे जुटे हुए है। उन्होंने परीक्षा में किसी प्रकार की अनियमितता और प्रश्न पत्र लीक न हो, इसको लेकर एक सख्त कानून बनाने के निर्देश दिए हैं। सीएम नीतीश कुमार ने कहा है कि इससे संबंधित प्रस्ताव आगामी विधानसभा के सत्र में लाया जाए। इससे लाखों गरीब और योग्य उम्मीदवार को मौका मिलेगा।
प्रस्तावित कानून के प्रमुख बिंदु:
कठोर दंड:
पेपर लीक में संलिप्त व्यक्तियों के लिए कठोर दंड का प्रावधान किया जाएगा। दोषी पाए जाने पर भारी जुर्माना और लंबे समय तक की सजा का प्रावधान हो सकता है।
परीक्षा प्रक्रिया की निगरानी:
परीक्षा केंद्रों पर निगरानी के लिए आधुनिक तकनीकों का उपयोग किया जाएगा, जैसे कि सीसीटीवी कैमरा और बायोमेट्रिक उपस्थिति। परीक्षाओं के दौरान सतर्कता बढ़ाने के लिए विशेष निगरानी दलों की तैनाती की जाएगी।
निष्पक्ष जांच:
पेपर लीक के मामलों की निष्पक्ष और तीव्र जांच के लिए विशेष जांच दल का गठन किया जाएगा। इन मामलों की सुनवाई के लिए विशेष न्यायालयों का प्रावधान किया जा सकता है।
सुरक्षा व्यवस्था:
प्रश्नपत्रों के सुरक्षित परिवहन और भंडारण के लिए सुरक्षा उपायों को सख्त किया जाएगा। प्रश्नपत्र तैयार करने और छपाई करने वाली इकाइयों पर भी सख्त निगरानी रखी जाएगी।