Shahrukh Pathan Encounter: उत्तर प्रदेश में सावन के पहले सोमवार को मेरठ एसटीएफ ने मुख्तार अंसारी और संजीव माहेश्वरी जीवा गैंग के खतरनाक शार्प शूटर शाहरुख पठान को एनकाउंटर में ढेर कर दिया। यह मुठभेड़ मुजफ्फरनगर के छपार थाना क्षेत्र के रोहाना मार्ग पर हुई, जहां STF ने घेराबंदी कर शाहरुख को दबोचने की कोशिश की, लेकिन उसने पुलिस पर फायरिंग शुरू कर दी।
Table of Contents
Shahrukh Pathan Encounter: शाहरुख पठान ने पुलिस पर की 10 राउंड फायरिंग
पुलिस सूत्रों के अनुसार, STF टीम को खुफिया इनपुट मिला था कि शाहरुख पठान मुजफ्फरनगर में किसी बड़ी वारदात की योजना बना रहा है। टीम ने इलाके की घेराबंदी की तो शाहरुख ने कार से ही पुलिस पर करीब 10 राउंड फायरिंग कर दी। जवाबी कार्रवाई में पुलिस की गोली लगने से शाहरुख घायल हो गया। उसे अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया।
Shahrukh Pathan Encounter: कार, पिस्टल और भारी मात्रा में कारतूस बरामद
STF ने मौके से एक कार, तीन पिस्टल, 9 एमएम की देसी पिस्टल और 60 से अधिक कारतूस बरामद किए हैं। इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि शाहरुख किसी बड़ी वारदात को अंजाम देने की फिराक में था। STF के मुताबिक, शाहरुख पठान मुख्तार अंसारी और संजीव माहेश्वरी उर्फ जीवा गैंग का शार्प शूटर था, जो सुपारी लेकर हत्याएं करता था।
Shahrukh Pathan Encounter: डेढ़ साल से फरार, एक दर्जन से अधिक केस दर्ज
STF अधिकारियों के अनुसार, शाहरुख पठान पर हत्या, लूट और गैंगस्टर एक्ट समेत 12 से अधिक गंभीर मामले दर्ज थे। वह करीब डेढ़ साल से फरार चल रहा था और इस दौरान भी सुपारी लेकर हत्याएं करता रहा। पुलिस के मुताबिक, शाहरुख ने 2015 में बिजनौर जेल से पेशी पर आए आसिफ जायदा की मुजफ्फरनगर रेलवे स्टेशन पर हत्या कर दी थी। कोर्ट में पेशी के दौरान भी वह पुलिस कस्टडी से फरार हो गया था।
गोल्डी हत्याकांड में उम्रकैद, जमानत पर आकर फिर बना सिरदर्द
2017 में शाहरुख ने हरिद्वार में कंबल व्यापारी गोल्डी की हत्या कर दी थी। उसी साल उसने आसिफ जायदा की हत्या के मुख्य गवाह और मृतक के पिता की भी हत्या कर दी थी। इस पर 50,000 रुपये का इनाम घोषित किया गया था। गोल्डी हत्याकांड में उसे उम्रकैद की सजा मिली, लेकिन छह महीने पहले वह जमानत पर बाहर आ गया था और दोबारा गवाहों को धमकाने और हत्याओं की साजिश रचने लगा।
पंचर की दुकान से अपराध की दुनिया तक का सफर
पुलिस सूत्रों के अनुसार, शाहरुख पठान पहले साइकिल पंचर की दुकान चलाता था। बाद में वह चोरी की घटनाओं में शामिल हुआ और फिर धीरे-धीरे संगठित अपराध की दुनिया में कदम रख दिया। इसी दौरान उसकी मुलाकात जीवा गैंग से हुई और उसने उनके लिए काम करना शुरू किया। बाद में वह मुख्तार अंसारी गैंग के लिए भी काम करने लगा।
पुलिस का कहना है कि शाहरुख ने अब तक तीन हत्याओं को अंजाम दिया था और डेढ़ साल से पुलिस और STF के लिए सिरदर्द बना हुआ था।
STF ने कहा- प्रदेश में नहीं पनपने देंगे माफिया नेटवर्क
मेरठ STF ने इस कार्रवाई के बाद कहा कि प्रदेश में माफिया और उनके गुर्गों को कानून से खिलवाड़ करने की अनुमति नहीं दी जाएगी। STF की टीमें लगातार माफिया नेटवर्क और उनके शूटरों पर नजर रख रही हैं। पुलिस का कहना है कि अपराधियों के खिलाफ कार्रवाई और सख्ती जारी रहेगी ताकि प्रदेश में कानून व्यवस्था को मजबूत बनाया जा सके।
यह भी पढ़ें:-
‘मुझसे कन्या वध हो गया है… मुझे फांसी दिलवा दो’, राधिका के पिता ने ताऊ से कहा
