Terrorist Attack: गांदरबल के गगनगीर में मजदूरों के कैंप पर हुए आतंकी हमले के बाद राजनीतिक माहौल में तनाव बढ़ गया है। नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला ने इस हमले की कड़ी निंदा की और पाकिस्तान के नेतृत्व से अपील की कि यदि वे भारत के साथ अच्छे संबंध बनाना चाहते हैं, तो आतंकवाद को जड़ से खत्म करना होगा।फारूक अब्दुल्ला ने गगनगीर में हुए आतंकी हमले को “बहुत दुर्भाग्यपूर्ण” बताते हुए कहा कि इस हमले में “अप्रवासी गरीब मजदूरों और एक डॉक्टर ने अपनी जान गंवा दी।” उन्होंने इस घटना पर गहरा दुःख व्यक्त किया और पीड़ितों के परिवारों के प्रति संवेदना जताई।
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फारूक अब्दुल्ला ने पाकिस्तान को सुनाई खरी-खरी
पूर्व सीएम फारुक अब्दुल्ला ने कहाह कि जम्मू-कश्मीर के लोगों को शांति और सम्मान के साथ जीने का अधिकार मिलना चाहिए ताकि वे सुरक्षित माहौल में जीवन यापन और सफलता प्राप्त कर सकें। अब्दुल्ला की इस टिप्पणी के बाद यह मामला राजनीतिक और सामाजिक रूप से चर्चा का विषय बन गया है, और लोगों में आतंकवाद के खिलाफ एकजुटता की भावना भी मजबूत हो रही है।
‘कश्मीर कभी पाकिस्तान नहीं बनेगा’
फारूक अब्दुल्ला ने गांदरबल हमले की निंदा करते हुए पाकिस्तान के नेतृत्व को स्पष्ट संदेश दिया है। उन्होंने कहा, मैं पाकिस्तान के नेतृत्व को बताना चाहता हूं कि अगर वे भारत के साथ अच्छे संबंध चाहते हैं, तो उन्हें आतंकवाद को खत्म करना होगा। कश्मीर कभी पाकिस्तान नहीं बनेगा। हमें सम्मान के साथ जीने और सफल होने का अधिकार है।
आतंकवाद के खिलाफ सख्त रुख
अब्दुल्ला की इस टिप्पणी ने जम्मू-कश्मीर में शांति और स्थिरता की वकालत करते हुए आतंकवाद के खिलाफ सख्त रुख अपनाने का आह्वान किया है। उनकी इस प्रतिक्रिया से यह संदेश भी साफ है कि जम्मू-कश्मीर के लोग शांतिपूर्ण जीवन और प्रगति की ओर बढ़ना चाहते हैं।
पड़ोसी आतंकी हमले रोके तभी बातचीत
नेशनल कॉन्फ्रेंस के प्रमुख फारूक अब्दुल्ला ने शुक्रवार को जम्मू-कश्मीर के मुद्दे पर पाकिस्तान की आलोचना करते हुए कहा कि पाकिस्तान जम्मू-कश्मीर की शांति और भविष्य को बाधित करने की कोशिश कर रहा है, जो पूरी तरह से अस्वीकार्य है। अब्दुल्ला ने कहा कि जम्मू-कश्मीर के लोग एक शांतिपूर्ण और स्थिर जीवन के हकदार हैं और किसी भी बाहरी हस्तक्षेप को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उनकी इस टिप्पणी ने राज्य में शांति और स्थिरता के प्रति समर्थन और आतंकवाद के खिलाफ दृढ़ संकल्प को स्पष्ट रूप से रेखांकित किया है।
हमारे कई साथी शहीद हो गए, लेकिन आतंकवाद का सिलसिला नहीं हुआ खत्म
फारूक अब्दुल्ला ने कहा कि हमारे कई साथी शहीद हो गए हैं, लेकिन आतंकवाद का यह सिलसिला खत्म नहीं हुआ। जो लोग इसे जारी रखना चाहते हैं, वे कश्मीर को पाकिस्तान से जोड़ने की गलतफहमी में हैं। 1947 में कश्मीर के लोगों ने यह तय कर लिया था कि वे पाकिस्तान नहीं जाना चाहते।
फारूक अब्दुल्ला ने पाकिस्तान को दी चेतावनी
उन्होंने चेतावनी दी कि अगर यह स्थिति जारी रही, तो अंततः सभी की तबाही होगी। अब्दुल्ला की यह टिप्पणी कश्मीर में जारी आतंकवाद और हिंसा के प्रति उनकी चिंता को दर्शाती है और यह संदेश देती है कि स्थायी शांति के लिए सभी को मिलकर काम करने की आवश्यकता है।
यूक्रेन, ईरान, और लेबनान हिंसा का किया जिक्र
फारूक अब्दुल्ला ने दुनिया के विभिन्न हिस्सों में चल रहे संघर्षों का जिक्र करते हुए कहा कि जैसे यूक्रेन, ईरान, और लेबनान में हिंसा हो रही है, हमें इन संघर्षों से यह सीखने की जरूरत है कि अंततः परिणाम केवल बर्बादी और तबाही होती है। उन्होंने आतंकवाद को रोकने की अपील करते हुए कहा कि जो लोग इसे बढ़ावा दे रहे हैं, उन्हें इसके गंभीर परिणामों पर गंभीरता से विचार करना चाहिए।