President Draupadi Murmu: कांग्रेस की पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष सोनिया गांधी द्वारा राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को लेकर की गई टिप्पणी को लेकर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है। भाजपा ने इसे राष्ट्रपति पद का अपमान बताते हुए सोनिया गांधी से माफी की मांग की है। भाजपा सांसदों और नेताओं ने सोनिया गांधी की ‘पुअर लेडी’ (बेचारी महिला) टिप्पणी पर नाराजगी जताई और इसे देश की सर्वोच्च संवैधानिक पद पर बैठे व्यक्ति का अवमानना करार दिया। सोनिया गांधी की ‘पुअर लेडी’ टिप्पणी पर उठे विवाद ने एक बार फिर भाजपा और कांग्रेस के बीच टकराव को बढ़ा दिया है। भाजपा ने इसे राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू और देश के संवैधानिक मूल्यों का अपमान करार दिया है और सोनिया गांधी से माफी की मांग की है। यह पहली बार नहीं है जब कांग्रेस और इंडिया ब्लॉक के नेताओं द्वारा राष्ट्रपति पर विवादित टिप्पणी की गई है। इससे पहले भी कई मौकों पर कांग्रेस नेताओं ने राष्ट्रपति पद और विशेष रूप से आदिवासी महिला राष्ट्रपति का सम्मान न करने का उदाहरण प्रस्तुत किया है।
राष्ट्रपति पद का घोर अपमान
भाजपा प्रवक्ता संबित पात्रा ने इस टिप्पणी की कड़ी आलोचना करते हुए कहा, राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने आज देश के भविष्य और विकास का लेखा-जोखा प्रस्तुत किया। उनके अभिभाषण को पूरे देश ने ध्यानपूर्वक सुना और सराहा, लेकिन दुखद है कि कांग्रेस की वरिष्ठ नेता सोनिया गांधी ने राष्ट्रपति को ‘बेचारी’ कहकर संबोधित किया। यह बयान न केवल असंवैधानिक है बल्कि राष्ट्रपति पद का भी घोर अपमान है। सोनिया गांधी को तुरंत माफी मांगनी चाहिए।
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कांग्रेस को संसदीय लोकतंत्र की परवाह नहीं
भाजपा सांसद और केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने इस बयान की आलोचना करते हुए कहा, जिसकी जैसी मानसिकता होती है, उसे सब कुछ वैसा ही दिखता है। सोनिया गांधी को वही दिखेगा, जैसी वह स्वयं सोचती हैं। वहीं भाजपा सांसद बृजमोहन अग्रवाल ने कहा, राष्ट्रपति का अभिभाषण पूरे देश को प्रेरित करने वाला था। यह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 11 वर्षों के कार्यों का एक आईना था, जिसने देश को नई दिशा दी है। राज्यसभा सांसद जगदंबिका पाल ने कहा, “कांग्रेस को संसदीय लोकतंत्र की परवाह नहीं है। सर्वोच्च संवैधानिक पद पर बैठे व्यक्ति पर ऐसी टिप्पणी करना निंदनीय है। सोनिया गांधी को इसके लिए सार्वजनिक रूप से माफी मांगनी चाहिए।
कांग्रेस और इंडिया ब्लॉक के नेताओं की पूर्व टिप्पणियां
यह पहली बार नहीं है जब कांग्रेस और इंडिया ब्लॉक के नेताओं ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को लेकर अपमानजनक टिप्पणियाँ की हैं। इससे पहले भी कई बार कांग्रेस के नेता इस तरह के बयान दे चुके हैं।
2025 में राहुल गांधी ने दिया था विवादित बयान
राहुल गांधी ने यह कहकर विवाद खड़ा किया था कि राष्ट्रपति मुर्मू राम मंदिर नहीं जा सकतीं क्योंकि वह आदिवासी समुदाय से आती हैं। हालांकि, सच्चाई यह थी कि राष्ट्रपति 2024 में राम मंदिर का दौरा कर चुकी थीं और सरयू घाट पर महाआरती में भी शामिल हुई थीं।
2024 में राष्ट्रपति को नहीं किया था संबोधित
संविधान दिवस 2024 के मौके पर संसद के संयुक्त सत्र में जब राष्ट्रपति मुर्मू उपस्थित थीं, तब नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने उन्हें संबोधित तक नहीं किया था। इस पर भाजपा ने सोशल मीडिया पर कड़ी प्रतिक्रिया दी थी और कहा था कि राहुल गांधी का अहंकार इतना बड़ा है कि उन्होंने एक आदिवासी महिला राष्ट्रपति का अभिवादन तक नहीं किया।
2022 में अधीर रंजन चौधरी का ‘राष्ट्रपत्नी’ बयान
कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी ने राष्ट्रपति के लिए ‘राष्ट्रपत्नी’ शब्द का इस्तेमाल कर विवाद खड़ा कर दिया था। इस बयान के लिए उन्हें बाद में माफी भी मांगनी पड़ी थी।
2022 में अजय कुमार की टिप्पणी
कांग्रेस नेता अजय कुमार ने कहा था कि द्रौपदी मुर्मू भारत के एक ‘गलत विचार’ का प्रतिनिधित्व करती हैं और उन्हें भारत में आदिवासियों का प्रतीक नहीं बनाया जाना चाहिए।
2022 में अखिल गिरि का अपमानजनक बयान
पश्चिम बंगाल के मंत्री अखिल गिरि ने एक सार्वजनिक रैली में राष्ट्रपति के रूप-रंग पर टिप्पणी करते हुए कहा था, “वे (भाजपा) कहते हैं कि मैं सुंदर नहीं दिखता। हम किसी को उनके रूप से नहीं आंकते, हम राष्ट्रपति पद का सम्मान करते हैं, लेकिन हमारी राष्ट्रपति कैसी दिखती हैं?” इस बयान के बाद भी भाजपा ने तीखी प्रतिक्रिया दी थी।
भाजपा ने कांग्रेस पर साधा निशाना
भाजपा ने कांग्रेस और इंडिया ब्लॉक पर आदिवासी समुदाय से आने वाली महिला राष्ट्रपति के प्रति लगातार असम्मानजनक व्यवहार का आरोप लगाया है। भाजपा नेताओं का कहना है कि कांग्रेस का यह व्यवहार उसके मानसिकता को दर्शाता है, जो आदिवासी और महिला सशक्तिकरण के खिलाफ है। भाजपा का आरोप है कि कांग्रेस नेतृत्व लगातार राष्ट्रपति मुर्मू के प्रति अपमानजनक रवैया अपनाता रहा है, जो देश के सर्वोच्च संवैधानिक पद का अवमानना है।
भाजपा की मांग- सोनिया गांधी करें माफी
भाजपा ने सोनिया गांधी से बिना शर्त सार्वजनिक माफी की मांग की है। भाजपा नेताओं का कहना है कि यह बयान सिर्फ राष्ट्रपति का नहीं, बल्कि पूरे आदिवासी समुदाय और महिला शक्ति का अपमान है। पार्टी के प्रवक्ताओं ने कहा है कि यदि सोनिया गांधी माफी नहीं मांगती हैं, तो यह स्पष्ट हो जाएगा कि कांग्रेस का शीर्ष नेतृत्व अब भी पुरानी संकीर्ण मानसिकता में ही जी रहा है।
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